देश विरोधी नारा लगाने के मामले में यूपी सरकार ने सख्त कार्रवाई के लिए निर्देश

देश विरोधी नारा लगाने के मामले में यूपी सरकार ने सख्त कार्रवाई के लिए निर्देश
By बृजेश पांडे
यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ कार्यालय ने ट्वीट कर कहा है कि पाकिस्तान की जीत का जश्न मनाने वालों पर देशद्रोह के तहत कार्रवाई की जाएगी। आपको बात दें कि एक दिन पहले ही टी 20 विश्व कप में भारत पर पाकिस्तान की जीत का कथित तौर पर जश्न मनाने के लिए आगरा में तीन कश्मीरी छात्रों को गिरफ्तार किया जा चुका है।
ये तीनों आरोपी व्यक्ति आगरा के राजा बलवंत सिंह कॉलेज के इंजीनियरिंग के स्टूडेंट है। अर्शीद यूसुफ और इनायत अल्ताफ शेख अपने कॉलेज के तीसरे वर्ष में हैं। जबकि शौकत अहमद चौथे वर्ष का छात्र है।
कॉलेज द्वारा तीनों छात्रों को यह कहते हुए निलंबित कर दिया गया है कि वे भारत-पाकिस्तान मैच के बाद “पाकिस्तान के पक्ष में स्थिति पोस्ट कर अनुशासनाहीनता के कार्य में शामिल” पाए गए थे। इसी मामले में उत्तर प्रदेश में चार और व्यक्तियों को गिरफ्तार किया गया है। इनमें से तीन गिरफ्तारी बरेली में और एक लखनऊ में हुई है।
इन तीनों स्टूडेंट पर धर्म और साइबर-आतंकवाद के आधार पर समुदायों के बीच दुश्मनी को बढ़ावा देने का आरोप लगाया गया है। मुख्यमंत्री कार्यालय के एक ट्वीट से संकेत मिलता है कि उन्हें देशद्रोह के आरोपों का भी सामना करना पड़ सकता है।
इस मामले में मंगलवार को भारतीय जनता युवा मोर्चा के क्षेत्रीय मंत्री गौरव राजावत ने थाना जगदीशपुरा में तहरीर दी। पुलिस ने मुकदमा दर्ज किया। बुधवार को आरोपी छात्रों को गिरफ्तार कर लिया गया। सीओ लोहामंडी सौरभ सिंह ने बताया कि आरोपी छात्रों को कोर्ट में पेश किया
पुलिस ने आरोपी कश्मीरी छात्रों के खिलाफ 153 ए, 505 (1) (बी) और आईटी एक्ट की धारा 66 एफ में मुकदमा दर्ज किया है। आपको बता दे की ‘धारा 153 ए’ दो वर्गों के बीच शत्रुता का प्रयास करने पर लगाई जाती है। इसमें दोषी को तीन साल तक की सजा का प्रावधान है। यह गैर जमानती धारा है। जुर्माना भी लगाया जा सकता है।
वही धारा 505 (1) (बी) में कोई व्यक्ति असत्य तथ्यों के आधार पर ऐसी बात करे, जिससे समाज में विद्रोह पैदा हो जाए। यह गैर जमानती है। दोषी तीन साल तक की सजा हो सकती है। यदि कोई आईटी एक्ट की धारा 66 एफ में संविधान में वर्णित एकता और अखंडता को सोशल मीडिया पर खंडित करने वाला कार्य करता है तो साइबर आतंकवाद की श्रेणी में आता है। यह धारा गैर जमानती है, दोषी साबित होने पर आजीवन कारावास तक हो सकता है।