श्रीमद्भागवत गीता के श्रवण से मनुष्य को पापों से मिलती है मुक्ति

श्रीमद्भागवत गीता के श्रवण से मनुष्य को पापों से मिलती है मुक्ति
ब्यूरो रिपोर्ट
बहादुरगंज गाज़ीपुर। बहादुरगंज के शक्ति पीठ मां चंडी धाम के प्रसार में आयोजित तीन दिवसीय भागवत गीता पाठ के तीसरे दिन शुक्रवार की देर शाम तक चलने वाले प्रोग्राम में आनंद महाराज ने कहा कि भागवत गीता के श्रवण करने से मनुष्य के सभी पापों का नाश होता है।
इंसान अगर मन को एकाग्र एवं शांति तरीके से विधिवत रूप से भागवत भजन का ज्ञान अगर प्राप्त करता है तो उसे जीवन में कठिनाइयों का सामना नहीं करना पड़ता है।
वह सफल जीवन व्यतीत करता है उक्त उद्गार नगर के मां चंडी धाम शक्तिपीठ के परिसर में चल रहे तीन दिवसीय श्रीमद्भागवत गीता पाठ पर व्याख्यान देते हुए अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त योगी आनंद महाराज ने कहा कि समय बहुत कीमती है, और इसी समय से कुछ क्षण निकालकर के ईश्वर के दिखाए मार्ग पर चलते हुए अमृतवाणी से भगवत भजन का रसपान प्रत्येक श्रद्धालु भक्तों को करना चाहिए।
जिससे कि उसके शारीरिक मानसिक विकास हो सके तथा उसके व्यवहार में परिवर्तन दिखाई दे सके उन्होंने कहा कि आज इंसान सुख सुविधा के तरफ अपना ध्यान केंद्रित कर रहा है, जबकि उसी अमूल्य समय में से समय निकालकर भगवत कृपा को प्राप्त करने के लिए आध्यात्मिक की दुनिया में ध्यान देने की जरूरत है, इसलिए कि जो व्यक्ति आध्यात्मिक के रूचि रखते हुए उसमें समय दान करता है।
उसे उसका फल ईश्वर की कृपा सदैव मिलती रहती है, और वह हमेशा सही रास्ते पर चल पता है समय मौसम दिन रात जिस तरह परिवर्तनशील होते हैं उसी तरह इंसान के व्यवहार भी परिवर्तनशील होते हैं, बाल्यावस्था युवावस्था आदमी लोग जीवन में भागदौड़ करते हैं फिर भी उस समय में से ही कुछ क्षण ईश्वर को याद करने में तथा विधिवत रूप से पूजन पाठ करने में लगाना चाहिए जिससे कि उसके जीवन में बदलाव आ सके और वह सदा सत्य मार्ग पर चल करके अपना जीवन सुधार सकें व्यक्ति को जीवन सुधारने एवं सही रास्ते पर चलने का एक सत्य मार्ग अध्यात्म का मार्ग होता है ।
इसी जीवन में उतारने होंगे जिससे कि उसका मानसिक विकास हो, आज जरूरत है कि लोग श्रीमद्भागवत गीता का अनुसरण अपने दैनिक जीवन में करें, और अपने घर परिवार मैं सुख समृद्धि ले आए, जिससे कि घर का वातावरण सुंदर बन सके आपने कहा कि आज लोग मोह माया मैं लीन हो रहे हैं परंतु उसमें से कुछ समय निकालकर त्याग और समर्पण के प्रतिमूर्ति अध्यात्म के तरफ भी झुकाव करते हुए श्रीमद्भागवत गीता मैं धर्म के प्रति दिखाए गए मार्ग का भी अनुसरण मनुष्य को अपने जीवन में उतारना आवश्यक है जिसे की उस व्यक्ति के जीवन परिवर्तनशील हो सके।
वह व्यक्ति अपने जीवन को सत्य के मार्ग पर चल कर स्वच्छ वातावरण मैं सकारात्मक परिवर्तन कर सके मनुष्य अपने जीवन काल में हर दौर से गुजरता है परंतु कठिन से कठिन परिस्थिति में देवता रूपी ईश्वर की उस व्यक्ति के जीवन में सहयोग करते हैं और सत्य मार्ग पर चलकर उसके सभी काम सफल हो जाते हैं सांस्कृतिक भजन ज्ञान प्रकाश सिंह के नेतृत्व में चलता रहा जिसका लोगों ने भरपूर आनंद लिया इसके पूर्व योगी आनंद जी के द्वारा मां चंडी धाम पर दर्शन पूजन विधिवत रूप से किया गया तत्पश्चात योगी आनंद जी महाराज का फूल मालाओं से स्वागत हर हर महादेव की गूंज के साथ करते हुए स्वागत किया गया।
कार्यक्रम में मुख्य अतिथि चपरा विश्वविद्यालय के पूर्व वाइस चांसलर प्रोफ़ेसर डॉ डॉ हरिकेश सिंह ने अपने संबोधन में कहा कि गाजीपुर के इस पावन धरती मां चंडी धाम पर गाजीपुर के लाल अंतर्राष्ट्रीय संत योगी आनंद जी महाराज ने श्रीमद्भागवत गीता के उद्बोधन का जो झंडा बुलंद किया है।
जिले के लिए गर्व की बात है आपने इस कार्य के लिए योगी जी को सहयोग करने की अपील की है उन्होंने कहा कि धर्म के प्रति सभी व्यक्ति को आस्था रखते हुए अपने जीवन में धर्म की अमृत वर्षा करके अपना जीवन सफल बनाना चाहिए।
कार्यक्रम में महंत पारस मणि, मा चंडी शक्तिपीठ के अध्यक्ष गिरीश चंद उर्फ़ निरंजन शर्मा,अजय सेठ, कौशल तिवारी, सुधीर मिश्रा, आशुतोष बरनवाल,बृजलाल शर्मा,अजय राय, चंदन गुप्ता, मनीष वर्मा, शुभम शर्मा, राहुल, शनि कुमार, अनिल गुप्ता इत्यादि लोगों द्वारा स्वागत किया गया।